भारत-पाकिस्तान के बीच तनाव के चलते बीकानेर सेक्टर पर बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (BSF) ने पूरी मुस्तैदी के साथ अपने काम को अंजाम दिया। पाकिस्तान ने अधिकांश ड्रोन चाइनीज और टर्की के उपयोग में लिए थे। वो पता करना चाहते थे कि बीकानेर में आर्मी और एयरफोर्स का क्या मूवमेंट है। टर्की के बने इन सर्विलांस ड्रोन के बारे में BSF ने समय रहते आर्मी और एयरफोर्स को रिपोर्ट किया, जिसके दम पर इन्हें ड्रोन हमलों को विफल कर दिया गया।बीकानेर सेक्टर के डीआईजी अजय लूथरा ने कहा- बीएसएफ ने न सिर्फ सीमा की रक्षा की बल्कि एयरफोर्स और आर्मी को लगातार इनपुट दिए, जिसके दम पर पाकिस्तान की सभी नापाक कोशिशों को नाकाम किया गया। बता दें कि ऑपरेशन शील्ड के तहत आज हो रही मॉकड्रिल में बीएसएफ भी एक्टिव है।
जैसलमेर से कम हुए ड्रोन अटैक
लूथरा ने बताया- जैसलमेर नार्थ और जैसलमेर साउथ में पाकिस्तानी ड्रोन बड़ी संख्या में पहुंचे लेकिन बीकानेर में ये एक्टिविटी कम थी। जो पाकिस्तानी ड्रोन बीकानेर की तरफ आए थे, वो सर्विलांस करने आए थे। बीकानेर सेक्टर में एयरफोर्स और आर्मी की लोकेशन और मूवमेंट के बारे में जानकारी लेना चाहते थे।ऐसे सभी ड्रोन को बीएसएफ ने ट्रैक किया और एयरफोर्स को सूचना दी। सभी ड्रोन नष्ट कर दिए गए थे। टर्की में बने इन ड्रोन के माध्यम से भारतीय ठिकानों पर नजर रखने का विफल प्रयास हुआ। 7 मई से 11 मई के बीच पाकिस्तान के हर हमले का जवाब देने के लिए तैयार थे। हम दुश्मन की एक-एक हरकत पर नजर रखे हुए थे। वो कुछ भी करता तो हम उसका माकूल जवाब देने में सक्षम हैं।डीआईजी लूथरा ने बताया कि भारत-पाक सीमा से सटे गांवों में सड़कों को दुरुस्त किया जा रहा है। सेंट्रल पीडब्ल्यूडी ने टेंडर कर दिया है लेकिन परिस्थितियां बदलने के कारण ये काम रुक गया था। अब जल्दी ही सड़कों को सही करने का काम जल्दी ही शुरू हो जाएगा
बाइट,,,, बीएसएफ डीआईजी अजय लूथरा

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