बीकानेर। 16 दिवसीय गणगौर पूजन के पश्चात कुंवारी कन्याओं व विवाहित महिलाओं ने उत्साह के साथ गवरजा को विदा किया। ढोल नगाड़ों की धुन पर नाचती गाती महिलाओं व युवतियों ने स्थानीय जस्सूसर गेट के अंदर,सिटी कोतवाली के सामने,चौतीना कुआं पर पूजन सामग्रियां का विसर्जन कर मेले का लुत्फ उठाया। मेले के दौरान लगी अस्थाई दुकानों पर बच्चों ने खरीददारी की व गणगौर पूजन करने वाली महिलाओं व युवतियों ने गोठ की। इस मौके पर झूले भी झूले।गणगौरी तीज पर सुबह से ही बालिकाओं-महिलाओं ने घरों में गणगौर का पूजन किया। बाद में रंगबिरंगी परिधानों में सज धज कर ये समूह के रूप में ढोल ताशों पर थिरकती हुई, गणगौर के गीत गाती हुई मेला स्थल पर पहुंची और पूजन सामग्री को विसर्जित किया बाद में इन बालिकाओं ने मेला स्थल पर झूले झूलकर, खाद्य सामग्रियों का सेवन कर लुत्फ उठाया। मेला स्थलों पर भारी तादाद में खाने पीने की अस्थाई स्टालें लगी हुई थी।वहीं युवतियों को देखकर कई मनचले भी मेलों में अपनी फितरत करने से बाज नहीं आ रहे थे। हालांकि पुलिस व्यवस्था की गयी थी परंतु पुलिस का ध्यान महज वाहनों को रोकने तक ही सीमित था। उधर घरों में गेहूं, बाजरे, बेसन आदि के ढोकले-फोगले का रायता बनाकर गणगौर के भोग लगाया गया। छेदयुक्त आटे के रोटे के ढोकले को रेगिस्तानी घास बुर में रखकर भाप से बर्तन में पकाकर तैयार किया गया। अनेक महिलाओं ने उद्यापन कर 16 महिलाओं को भोजन करवाया।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *