सौलर कंपनियों द्वारा की जा रही खेजड़ियों की कटाई को रूकवाने हेतु मुख्यमंत्री से मिला विश्नोई समाज।
बीकानेर संभाग में सौलर कंपनियों द्वारा आये दिन की जा रही खेजड़ियों की कटाई के सिलसिले को रूकवाने हेतु साधु-संतों एवं जन प्रतिनिधियों की अगुवाई में विश्नोई समाज का एक 70 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल 27अगस्त को राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा से जयपुर जाकर मिला।और उन्हें वृक्षों की अवैद्य कटाई एवं वन्यजीवों के शिकार को रूकवाने के विषय में एक 14 सूत्रीय मांग पत्र सौंपा गया,जिसमें खेजड़ियों की हो रही कटाई पर पुर्ण प्रतिबंध लगाने, वृक्ष सुरक्षा कानून बनाने,हर साल की गिरदावरी में 5 फुट से बड़ी खेजड़ियों की गिनती शामिल करने,
बेअसर टिनेन्सी एक्ट को खत्म कर दो लाख रूपये प्रति पेड़ जुर्माना करने,अधिक वृक्षों के कटान पर खातेदारी अधिकार निरस्त करने,सौलर प्लांट में मौजूद पेड़ों को बचा कर सौलर लगाने,सौलर कंपनियों को 15% अधिक अतिरिक्त भूमि लेकर उसमें मात्र पेड़ लगाने हेतु पाबंद करने,पेड़ कटाई/शिकार प्रकरणों में संबंधित अधिकारी को चश्मदीद से शिकायत लेने,एवं उसकी प्राप्ति के साईन देने हेतु पाबंद करने,वन भूमि,गौचर, औरण आदि सरकारी जमीनों में वन विभाग द्वारा लगाये जाने वाले पेड़ों की प्रति वर्ष गणना कराने,व अभियान चलाकर उन जमीनों में हो रहे कब्जों को कब्जाधारियों से मुक्त करवाने,
w.l.p act में वन्यजीवों के शिकार को संज्ञेय अपराध घोषित करवाने,वन
अपराधों में लगातार अनियमितता बरतने के दोषी अधिकारी के विरूद्ध हों रही शिकायतों को नहीं सुनने की परिपाटी को पाबंद करने।उपजाऊ कृषि भूमि, एवं कमांड जमीनों में सोलर संयंत्र नहीं लेने देंने। सोलर कंपनियों द्वारा ली जा रही जमीनों में पहले से मौजूद हरे वृक्षों का भौतिक सत्यापन करवाने,व विशेष परिस्थितियों में खेजड़ी के अलावा अन्य वृक्षों की कटाई की अनुमति जिला कलेक्टर अथवा उनके समकक्ष अधिकारी लेने की लिखित मांग की गई।
प्रतिनिधि मंडल का नैतृत्व उद्योग मंत्री श्री के के विश्नोई, पूर्व नोखा विधायक श्री बिहारीलाल जी विश्नोई आचार्य गौवर्धराम जी,भागीरथ दास जी शास्त्री, जांभा के महन्त श्री भगवानदासजी, स्वामी कृपाचार्य जी,आदि ने किया। जिसमें पूर्व वन मंत्री सुखराम बिश्नोई,पूर्व लूणी विधायक, मलखान सिंह विश्नोई,फरसराम, विश्नोई अमरचंद दुलोईया अलका विश्नोई, ओमप्रकाश भादू, किशनाराम गोदारा, मोखराम धारणियां,सुभाष भांभू, रिछपाल फोजी,भोमाराम भादू हेतराम डूडी रामगोपाल माल, रामरतन सिगड़,ओ पी खिचड़, अनोप गीला बजरंग खीचड़, देवीलाल जाखड़,
रामकिशन डेलू, रवि विश्नोई, शिवराज जाखड़ , हनुमान बैनीवाल,विजयपाल डेलू रामपाल भवाद, महीराम दुलोईया,रामनिवास बुधगर, ओमप्रकाश लोल,आदि पर्यावरण प्रेमी वार्ता में शामिल हुए। मुख्यमंत्री जी ने वृक्षों की कटाई की घटनाओं को रोकने हेतु कानून को बदल कर और अधिक सख्त बनाने का आश्वासन तो दिया। परंतु इसकी घोषणा नहीं की इसलिए पर्यावरण प्रेमियों का संघर्ष तब तक जारी रहेगा जब तक हरे पेड़ों की कटाई पर प्रभावी रोक नहीं लग जाती।
