एंकर – बीकानेर के पीबीएम हॉस्पिटल के चर्म रोग विभाग अस्पताल के एक कक्ष में अचानक आग लगने से हड़कंप मच गया। मजे की बात तो यह है कि इसको लेकर दो दिन पहले बीकानेर दौरे पर आएं स्वास्थ्य विभाग के सचिव ने अस्पताल परिसर में लाईट फिटिंग को दुरूस्थ करने तथा किसी प्रकार की कमी को ठीक करने के दिशा निर्देश दिए थे। फिर भी स्थिति ढाक के तीन पात वाली बनी है। आगजनी के चलते मरीजों को तुरंत अन्यत्र शिफ्ट किया गया। अचानक एसी में शॉर्ट सर्किट के कारण आग लगी। गनीमत रही कि कोई हताहत नहीं हुआ।सरदार पटेल मेडिकल कॉलेज के पास ही स्थित सुपर स्पेशियलिटी सेंटर से सटे चर्म रोग विभागाध्यक्ष डॉ.बी.सी.घीया के कमरे में से धुआं आता दिखाई दिया। इसके बाद आस पास के कमरों से भी धुआं निकला। आग बढ़ती इससे पहले ही मरीजों को शिफ्ट किया गया। सूचना के बाद पीबीएम अस्पताल के अधीक्षक सुरेन्द्र वर्मा ने मौके पर पहुंचकर हालात का जायजा लिया। उन्होंने बताया कि समय पर कार्रवाई करने से कोई जनहानि नहीं हुई।आग के कारण कुछ सामान भी जल गया है। एसी में शॉर्ट सर्किट के कारण लगी आग फर्नीचर तक नहीं पहुंची। आग सुबह लगी तो समय रहते,इस पर काबू पा लिया गया। अगर अस्पताल समय के बाद आग लगी होती तो बड़ा नुकसान हो सकता था। इसी विभाग के पास आंखों का अस्पताल है। जहां पहली मंजिल पर बड़ी संख्या में रोगी भर्ती भी रहते हैं।आग का धुआं देखने के साथ ही मौके पर मौजूद लोगों ने अंदर पहुंचकर कांच के शीशे तोडऩे शुरू किए तो ताकि धुआं बाहर निकल सके। पीबीएम हॉस्पिटल के कर्मचारियों और रोगियों के साथ आए परिजनों ने मिलकर आग पर काबू पाने का प्रयास किया। मौके पर दमकल भी पहुंच गई, जिसने जल्द ही आग पर काबू पा लिया। आग बुझाने वाली टीम में बीछवाल फायर स्टेशन के रविन्द्र,विमल बिनावरा,मो तारीफ,नितेश,बाबू दास वैष्णव शामिल रहे।चिकित्सा सचिव ने निर्देशो के बाद भी मेडिकल कॉलेज प्राचार्य व पीबीएम प्रशासन लापरवाह बना हुआ है। प्राचार्य डॉ गुंजन सोनी तो यहां तक कह चुके है कि वो काम करते करते परेशान हो गए है।उनसे अब काम नही होगा। चाहिए उन्हें हटा क्यो ना दिया जाए।

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